जम्मू-कश्मीर के उरी सेक्टर में नियंत्रण रेखा (LoC) पर भारतीय सेना ने पाकिस्तान की बॉर्डर एक्शन टीम (BAT) से जुड़ी एक बड़ी घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया है। यह घटना स्वतंत्रता दिवस से पहले सीमा पर सुरक्षा व्यवस्था को भेदने की एक और नापाक कोशिश थी, जिसका भारतीय जवानों ने मुंहतोड़ जवाब दिया। इस ऑपरेशन में, हालांकि, एक बहादुर भारतीय सैनिक, हवलदार अंकित ने अपने पद की रक्षा करते हुए सर्वोच्च बलिदान दिया और शहीद हो गए। यह घटना 12 और 13 अगस्त की दरमियानी रात को टिका पोस्ट के पास हुई थी, जहां आतंकियों ने घुसपैठ की कोशिश के साथ-साथ BAT अटैक की भी साजिश रची थी।
BAT: एक घातक और क्रूर रणनीति
बॉर्डर एक्शन टीम (BAT) पाकिस्तान की सेना का एक विशेष दल है, जिसे भारतीय सैनिकों पर घात लगाकर हमला करने के लिए तैयार किया गया है। ये हमले अक्सर क्रूरता और बर्बरता के लिए जाने जाते हैं। BAT टीमें आमतौर पर आतंकवादियों को ढाल बनाकर LoC पार करती हैं, और भारतीय चौकियों पर हमला करने के बाद वापस पाकिस्तानी क्षेत्र में भाग जाती हैं। इस तरह के हमलों का उद्देश्य भारतीय सेना के मनोबल को तोड़ना और सीमा पर अशांति फैलाना है।
इस तरह के हमलों से बचने के लिए, भारतीय सेना हमेशा सतर्क रहती है और ऐसे किसी भी प्रयास का कड़ा जवाब देती है। उरी में हुई यह घटना भी इसी सतर्कता का परिणाम है, जहां जवानों ने आतंकियों के नापाक इरादों को कामयाब नहीं होने दिया। पूरे क्षेत्र में अभी भी तलाशी अभियान जारी है ताकि किसी भी छिपे हुए आतंकी को बाहर निकाला जा सके।
हालिया मुठभेड़ और ऑपरेशन
यह कोई अकेली घटना नहीं है। पिछले कुछ हफ्तों में, जम्मू-कश्मीर में घुसपैठ की कोशिशों और आतंकवादियों से मुठभेड़ों में तेजी आई है। भारतीय सेना ने कई बड़े ऑपरेशन चलाए हैं, जैसे कि ऑपरेशन अखल और ऑपरेशन महादेव। इन ऑपरेशनों में कई आतंकवादियों को मार गिराया गया है, लेकिन इसमें हमारे कुछ जवान भी शहीद हुए हैं। यह बताता है कि भारतीय सेना कितनी चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में काम कर रही है और देश की सुरक्षा के लिए कितने बड़े बलिदान दे रही है। 🇮🇳