Monday, October 6, 2025
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Dwarka Expressway और UER-II: Delhi-NCR की बदलेगी तस्वीर, जानें यात्रियों और अर्थव्यवस्था को कैसे मिलेगा फायदा

नई दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (NCR) में यातायात को सुगम बनाने और अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए Dwarka Expressway और अर्बन एक्सटेंशन रोड- II (UER-II) एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो रहे हैं। हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इन दो प्रमुख राजमार्ग परियोजनाओं का उद्घाटन किया है, जिनकी कुल लागत लगभग 11,000 करोड़ रुपये है। ये परियोजनाएं न केवल Delhi-NCR में ट्रैफिक की समस्या को कम करेंगी, बल्कि आर्थिक और सामाजिक विकास को भी बढ़ावा देंगी।

यात्रियों के लिए बड़ा फायदा

  • कम होगा यात्रा समय: UER-II के शुरू होने से दिल्ली के बाहरी रिंग रोड और भीड़भाड़ वाले इलाकों जैसे मुकरबा चौक, पीरागढी, और धौला कुआं पर यातायात का दबाव कम होगा। यह एक्सप्रेसवे सिंघु बॉर्डर से इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे (IGI Airport) तक की दूरी को लगभग 2 घंटे से घटाकर सिर्फ 40 मिनट में पूरा कर देगा।
  • प्रदूषण में कमी: इन सड़कों के निर्माण से हर दिन करीब 3 लाख वाहनों को दिल्ली शहर के भीतर प्रवेश करने की जरूरत नहीं पड़ेगी। इससे वायु प्रदूषण में महत्वपूर्ण कमी आने की उम्मीद है, जो दिल्ली-एनसीआर की एक बड़ी समस्या है।
  • आसान होगी कनेक्टिविटी: Dwarka Expressway का दिल्ली खंड, जो पहले से ही गुरुग्राम में चालू है, अब दिल्ली के प्रमुख हिस्सों जैसे द्वारका सेक्टर-21, 23 और नजफगढ़ को सीधी कनेक्टिविटी प्रदान करेगा। यह IGI एयरपोर्ट और आने वाले इंडिया इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर (IICC) तक भी आसान पहुंच सुनिश्चित करेगा।
  • रियल एस्टेट को बढ़ावा: इन राजमार्गों के आसपास के क्षेत्रों में रियल एस्टेट बाजार में उछाल आने की संभावना है। बेहतर कनेक्टिविटी से आवासीय और वाणिज्यिक संपत्तियों की मांग बढ़ेगी, जिससे सोनीपत और रोहिणी जैसे क्षेत्रों में भी विकास को गति मिलेगी।

अर्थव्यवस्था को लाभ

  • तेजी से होगा माल परिवहन: ये नए एक्सप्रेसवे माल ढुलाई और औद्योगिक गतिविधियों को गति देंगे। व्यापारियों और किसानों के लिए अपना माल एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुंचाना अब अधिक आसान और तेज होगा, जिससे उनके व्यापार में वृद्धि होगी।
  • रोजगार के नए अवसर: इन परियोजनाओं के निर्माण और उसके बाद इन क्षेत्रों में होने वाले विकास से रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे। दिल्ली के पिछड़े क्षेत्रों में भी विकास की नई लहर आएगी।
  • पर्यावरण अनुकूल निर्माण: UER-II को बनाने में भलस्वा और गाजीपुर जैसे लैंडफिल से लाखों टन कचरे का इस्तेमाल किया गया है। यह न केवल कचरे के पहाड़ों को कम करने में मदद करेगा, बल्कि वैज्ञानिक तरीकों से कचरे का पुन: उपयोग करने का एक बेहतरीन उदाहरण भी प्रस्तुत करता है।
  • देश की राजधानी का नया स्वरूप: ये परियोजनाएं दिल्ली को एक आधुनिक, विश्व स्तरीय और विकसित राजधानी के रूप में स्थापित करने के सरकार के दृष्टिकोण को दर्शाती हैं। बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर से दिल्ली न केवल भारत के लिए, बल्कि दुनिया के लिए एक आदर्श शहर बन पाएगी।

ये दोनों परियोजनाएं Delhi-NCR के लोगों के जीवन को बेहतर बनाने और आर्थिक विकास को गति देने में गेमचेंजर साबित होंगी।

हलीमा खलीफा
हलीमा खलीफाhttps://www.khalifapost.com/
हलीमा खलीफा एक प्रतिभाशाली लेखिका हैं जो पहचान, संस्कृति और मानवीय संबंधों जैसे विषयों पर लिखती हैं। उनके आगामी कार्यों के अपडेट के लिए Khalifapost.com पर बने रहें।
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